पापा बाहर बेटे का लंड माँ के अंदर भाग-1

Mom Son Sex Story Hindi:- हेलो दोस्तों! आज मै आपके लिए एक बहुत ही मस्त माँ बेटा की चुदाई, मॉम की चुदाई की कहानी बताने जा रहा हूँ। ये कहानी बहुत ही मस्त और सेक्सी होने वाली है तो दोस्तों अपने अपने लंड संभाल लो और हिलाने के लिए तैयार हो जाओ। तो चलिये आपका ज्यादा समय ना लेते हुए कहानी शुरू करते है।

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ट्रिन…….ट्रिन…..मैं लाउन्ज रूम मे बैठा टीवी देख रहा था कि तभी लैंडलाइन की घंटी बजी. मैं फ़ोन उठाने के लिए उठा और जैसे ही रिसीवर उठाया मेरे कानो मे आवाज़ पड़ी। हेलो सपना मेरी जान कैसी हैं? मैं फ़ोन वापस रखने ही वाला था कि दूसरी आवाज़ मेरे कान मे पड़ी. घंटा ठीक हूँ!

तूने साली कल पूरे प्रोग्राम की मॉम चोद दी…..

यह आवाज़ किसी और की नहीं बल्कि मेरी मॉम की थी जिनका नाम है सपना. वैसे तो मेरी मॉम गाँव की हैं लेकिन पिछले 22 साल से हम लोग दिल्ली मे रह रहे हैं और इसका सबसे ज़्यादा असर मेरी मॉम पर पड़ा। जिन्होंने अपने आप को बिलकुल यहाँ की आबो हवा मे ढाल लिया. मेरी मॉम वैसे तो 42 साल की हैं पर देखकर कोई नहीं कह सकता की यह 3 बच्चो की मॉम हैं. कॉल करने वाली मॉम की बेस्ट फ्रेंड थी निशा आंटी.

निशा आंटी – छोड ना यार गुस्सा! अच्छा तेरा फ़ोन क्यों ऑफ हैं?

मॉम – फ़ोन की भी मॉम चुद गयी हैं मेरा मूड ऑफ हैं! अब बता तूने कॉल क्यों किया?

निशा: यार नहीं बन पाया प्रोग्राम! अच्छा चल आई ऍम सॉरी! चल बाहर लंच पे चले..

मॉम: आज मेरा हस्बैंड आने वाला हैं!

निशा – तो फिर किस बात की टेंशन कल नहीं हुआ तो आज हो जाएगा।

मॉम: हरामज़ादी अगर मेरा हस्बैंड कुछ कर पाता तो क्या मैं तुझपे डिपेंडेंट रहती? एक तो काम नहीं करा ऊपर से रंडी जले पे नमक छिड़क रही हैं….

निशा – ओह्ह्हूऊओ इतना गुस्सा कमीनी।

मॉम: और नहीं तो क्या? इतने मूड से पूरा प्रोग्राम बनाया था और तेरी उस चूतिया फ्रेंड रोहिणी ने एन्ड टाइम पे खड़े लंड पे धोखा दे दिया.

निशा- अब गुस्सा थूक, मैं कुछ करती हूँ।

मॉम: क्या करेगी तू? तेरे पास तो तेरा ड्राइवर हैं ना साली! अभी थोड़ी देर मे उसके लंड पे उछलेगी और यहाँ मैं ऊँगली से काम चलाऊँगी.

निशा: तो आजा तू भी कूद ले उसके लोडे पे! मैंने तुझे मना किया हैं क्या.

मॉम: मुझे नहीं कूदना उस चूतिये के लोडे पे! पहले एन्जॉय करेगा, फिर बाद मैं ब्लैकमेल. और हाँ उस रोहिणी ने पेमेंट ट्रांसफर कर दी हैं?

निशा: चलो पैसे तो वापस आया।

मॉम: क्या ख़ाक! साली से पेनाल्टी लेनी चाहिए, फोटो तो ऐसे भेजे थे, जैसे फोटो मे से ही सारे लंड निकल के चोद डालेंगे। साली दो आदमी अरेंज नहीं कर पायी, कितना मन था पूरी रात चुदने का, अरसा हो गया ढंग से चुदे हुए। इतनी गर्मी हैं ना अंदर, कि एक दो आदमी तो झेल भी नहीं पाएंगे मुझको. Mom Son Sex Story Hindi

निशा: हँसते हुए इतनी तेज़ बोल रही हैं, किसी ने सुन लिया तो?

मॉम: मैं अपने रूम मे हूँ और घर पर कोई नहीं हैं(मॉम को नहीं मालूम था की मैं घर पर ही हूँ)।

निशा: चल अब गुस्सा थूक, फिर कभी और बनाते हैं प्रोग्राम। मॉम: क्या यार चल मैं आती हूँ तेरे ऑफिस थोड़ी देर मे.

निशा – ओके चल आ जा।

ये सुनकर मॉम ने फ़ोन रख दिया और फिर मैंने. लेकिन जो कुछ सुना उसके बाद तो मेरे होश उड़ गए. मेरी सोचने समझने की शक्ति खत्म सी हो रही थी. लेकिन मेरा लंड खड़ा हुआ था, यह सोच सोच कर की मेरी मॉम और निशा आंटी कल कोई प्रोग्राम बनाके चुदवाने गयी थी और मेरी मॉम तो पूरी रात चुदना चाहती थी. क्या पापा मॉम को सेटीस्फाइ नहीं कर पाते. मैं अपनी मॉम को इमेजिन करने लगा और अपने लंड को शॉर्ट्स के ऊपर से सहलाने लगा. आज से पहले मैंने कभी भी अपनी मॉम के बारे मे ऐसा नहीं सोचा था। हाँ, पर निशा आंटी को सोच के कई बार मुठ मारी थी और मारून भी क्यों ना वो एक नंबर आइटम जो थी और हमेशा मेरे से हेल्थी फ़्लर्टिंग करती थी, जो हमेशा मेरे लंड को खड़ा कर देती थी. लेकिन कभी आगे बढ़ने का मौका नहीं मिला. मुझसे बर्दाश्त नहीं हो रहा था, मैं भाग के लांड्री मे घुस गया और अपना हिलाने लगा. तभी मुझे वह वाशिंग मशीन मे कुछ दिखा, वह मॉम की ब्रा हैं और मैं उन्हें उठा के सूंघने लगा और अपना हिलाने लगा. कुछ अलग ही एहसास हो रहा था.

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आज से पहले हिलाने मे इतना मज़ा कभी नहीं आया. मेरा लंड आज से पहले इतना हार्ड कभी नहीं हुआ था और मेरे हाथ हिलाते समय कभी इतना तेज़ नहीं चला और मैं क्या बड़बड़ा रहा था मुझे भी नहीं पता लेकिन आई वास फीलिंग एक्ससाईटेड. मैं मॉम को इमेजिन कर के बोल रहा था, सारी रात क्या तुझे तो मैं इस लंड पे झूला झुलाऊँगा. इतना चोदूँगा कि तू मेरे आगे ठहर नहीं पायेगी. तुझे कुतिया बनाके पूरे घर मे पेलुँगा. मै जाने क्या क्या सोच रहा था, वैसे मैं वर्जिन नहीं हूँ, तीन औरतों को और एक लड़की की चोद चुका हूँ (जिनका इंट्रोडक्शन बाद मैं बताऊंगा). आई वास अबाउट टू रीच माय क्लाइमेक्स और मेरे मुँह से निकला – सपना मेरी जाननननननन…… और मेरा झड़ गया. इतना झड़ा की अगर एक औरत की चूत मे इतना पानी डाला जाये तो कम से कम तीन बच्चे तो पैदा होंगे. मॉम की ब्रा मेरे मुँह मे थी, जैसे मैं उनके बूब्स चूस रहा हूँ. पुरे कप्स ब्रा के गीले हो गए थे, मैंने जल्दी से उस ब्रा को अपने अंडरवियर मे डाला और बाहर निकला. मॉम की ब्रा मेरे अंडरवियर पर मुझे बहुत सेक्सी फील करा रही थी. मैं अपने रूम की तरफ जा ही रहा था की मुझे किसी ने आवाज़ दी……

आरुष….. यह हैं मेरा नाम. मैं 20 साल का हूँ और फिलहाल मैनेजमेंट की पढाई कर रहा हूँ. वैसे तो मेरा मन इंजीनियर बनने का था, लेकिन फॅमिली बिज़नेस के लिए मुझे मैनेजमेंट करना पड़ा. आम लड़को के जैसे मेरी भी ज़िन्दगी हैं, फ्रेंड्स के साथ चिल आउट करना लड़कियों को इम्प्रेस करना और अगर हाथ आ जाये तो चुदाई भी. वैसे मैं पढाई मे भी ठीक हूँ, नॉट एक्स्ट्राऑर्डिनरी लेकिन फार बेटर दैन एवरेज. मुझे फिट रहने का शौक हैं. यह आवाज़ मॉम की थी. Mom Son Sex Story Hindi

मॉम: आरुष तुम घर मे हो? कॉलेज क्यों नहीं गए?

मैं: मॉम आज कॉलेज मे कुछ कल्चरल फेस्ट हैं और मुझे इस भीड़ भड़ाके से चिड़ हैं।

मॉम: बेटा यह कॉलेज फेस्ट तो एन्जॉय करने के लिए होते हैं, यही टाइम हैं जब तुम नए लोगो से मिलते हो. यू हैंगऑउट, योर फ्रेंड्स और नयी नयी लड़कियां भी मिलती हैं दोस्त बनाने को.

मैं – क्या मॉम आप भी।

मॉम: अरे यार चिल मार और अपनी लाइफ एन्जॉय कर, नहीं तो और दो साल बाद तेरे पापा तुझे बिज़नेस मे डाल देंगे, तो फिर मिस करेगा ये दिन.

मॉम बिलकुल सही बोल रही थी और मुझे लगा की शायद मुझे जाना चाहिए.

मैं: आप ठीक बोल रही हो, एटलीस्ट फ्रेंड्स के साथ तो हैंगऑउट कर ही सकता हूँ.

मॉम: दैट्स लाइक माय बेबी और सुनो मैं निशा के यहाँ जा रही हूँ, शाम तक आ जाउंगी और हाँ, जाते हुए यह इस फ़ोन को ज़रा दिखा दो, कल से ऑन ही नहीं हो रहा. अगर ख़राब हो गया हो, तो प्लीज मेरे लिए एक अच्छा फ़ोन लेके आना. ये रखो मेरा क्रेडिट कार्ड।

यह बोलके मॉम आगे निकल गयी और मैं मॉम को पीछे से देखने लगा. उनकी गांड की बनावट और चलने से जो थिरकन उनकी गांड मे आ रही थी उससे मेरा लंड वापस एक्शन मे आ गया था. उस क़ातिलाना चाल से मैं नज़र नहीं हटा पा रहा था. ऐसे लग रहा था कि वो गांड मुझे बुला रही हो और मुझसे कह रही हो कि मुझे प्यार करो, मुझे रगड़ो, मसलो और मेरी मार लो. क्या गांड थी…. मैं मॉम की गांड को निहार रहा था और अपने लंड तक हाथ लेके ही जाने वाला था कि मुझे एक शॉक लगा. मॉम पीछे मुड़ी और मेरी तरफ देखकर उन्होने अपनी आँख मार दी. आज से पहले ऐसा कभी नहीं हुआ था और वो चली गयी. मेरा माथा भन्ना गया और यह लंड बैठने का नाम ही नहीं ले रहा था. मैं जल्दी से बाथरूम मे गया और अपने कपडे निकाल दिए और मेरे हाथ मे फिर मॉम की ब्रा आ गयी. क्या लगती होंगी वो, इसे पहन कर और मैं उस ब्रा को अपने मुँह पे रख लिया और उसकी स्मेल को मेहसूस करने लगा.

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उसमे से मॉम की खुशबू मुझे पागल कर रही थी और मेरे हाथ मेरे लंड को मथने लगे. मैं उस स्मेल को महसूस कर रहा था, मुझे मॉम के जिस्म का नशा हो गया था और मैं डिस्चार्ज होना चाह रहा था, जिससे मुझे सुकून मिले. मेरे हाथ और तेज़ी से लंड पे हिलने लगे और मैं डिस्चार्ज होने के बहुत करीब था। मैंने मॉम की ब्रा को अपने लंड पे लपेट लिया, ऐसा लग रहा था, मानो मैं मॉम को बूब फ़क दे रहा हूँ. मैं झड़ने के बहुत करीब था। Mom Son Sex Story Hindi

मै – मॉम मैं आ रहा हूँ संभालो मेरा लोड़ा.. आहह्ह्ह्हह्ह्ह्हह्हह्ह आई लव यू मॉम आई वान्ना फ़क यू लाइक ए बिच…….आहहहहहहहह और मैं झड़ गया।

5 मिनट्स तक मैं आँखे बंद करे इस पल को महसूस करने लगा और फिर मुझे होश आया. मैं नहाया और उस ब्रा को अपने रूम मे छुपा दिया. ब्रा को सिर्फ हाथ ही लगाया था की महाराज फिर अटेंशन हो गए. मेरी समझ मे नहीं आ रहा था की इस लंड महाराज का क्या करू, साला बैठने का नाम ही नहीं ले रहा था. फिर मै अपना ध्यान हटाने के लिए बाहर निकाल गया और अपने दोस्तों के साथ टाइम स्पेंड किया. फिर मै जब घर पंहुचा और अपने कमरे की तरफ जा रहा था तो पूरे घर मे सन्नाटा छाया हुआ था. सब अपने कमरे मे थे मॉम, डैड और मेरी छोटी बहन अनीशा(जिसका इंट्रो मैं बाद मे दूंगा). मैं सीढ़ियाँ चढ़ने लगा था कि तभी मेरे ज़ेहन मे ख्याल आया कि डैड आज पूरे दो महीने बाद घर आये हैं तो ज़रूर अंदर कुछ हॉट सा एक्शन हो रहा होगा. सुबह से जो कुछ मेरे साथ हो रहा था, उससे मेरे मन मे मॉम के लिए अट्रैक्शन पैदा हो रहा था। एक अलग सा रोमांच भर रहा था मेरे शरीर मे कि मॉम अभी डैड से चुद रही होंगी. मैं मॉम को इमेजिन करने लगा कि वो चुदते समय कैसे बिहेव करेंगी.

मैं मॉम के बारे मे सोच रहा था और मेरे कदम अपने आप ही मॉम के रूम की तरफ बढ़ चले. मैं धीरे धीरे मॉम के रूम के गेट के पास पहुंच गया. मैंने अपना कान डोर पे लगाया पर मुझे अंदर का कुछ भी सुनाई नहीं दिया. मैंने डोर का हैंडल घुमाया पर वो नहीं घूमा, शायद अंदर से लॉक्ड था. मैंने अपनी आँख की होल से लगायी तो जो देखा वो बिलकुल मेरी आशा के विपरीत था. डैड एक करवट करके सो रहे थे और मॉम सीधी लेती हुई थी और उनका हाथ नीचे ब्लैंकेट मे चल रहा था, जिससे मुझे समझ मे आ गया कि मेरी मॉम खुद तो सेटीस्फाइ कर रही हैं यानि की अपनी चूत सहला रही हैं. मॉम की आँखें बंद थी और वो अपनी ही धुन मे मगन थी. मॉम के चूचे ब्रा मे क़ैद मुझे साफ़ दिख रहे थे। मैं मन मे सोचने लगा की मेरे डैड कितने चूतिया आदमी हैं जो इतनी सेक्सी वाइफ के होते हुए घोड़े बेच के सो रहे हैं. उनकी जगह मैं होता तो रात भर ऐसी बीवी को अपने लंड पे बैठाके रखता.

मॉम को बीवी इमेजिन करते ही मेरा लंड अकड़ने लगा. काश कि मुझे बीवी मॉम जैसी मिले और अगर ऐसा सच हुआ तो मैं उससे इतना प्यार करूँगा की उसे कभी ऐसा कुछ नहीं करना पड़े. मॉम के हाथ अब बहुत तेज़ चल रहे थे, जिससे मुझे समझ मे आ गया कि वो अब अपने चरमसुख के बहुत करीब हैं. मॉम नीचे अपना एक हाथ चला रही थी और दूसरे हाथ से अपने बूब्स को दबा रही थी. मॉम ने अपनी ब्रा मे से एक बूब निकाला और उसके निप्पल को उंगलियों से कुरेदने और खींचने लगी. मॉम की आँखें प्लीजर से बंद थी. तभी मॉम के मुँह से कुछ निकला।

मॉम: ओहहहहहहहहहह आहहहहहहह उम्मममममममम!!

मॉम झड़ चुकी थी और उनकी आवाज़ कोई ना सुने उन्होंने अपने मुँह पे हाथ रख लिया और अपनी आँखें बंद करके वो उस पल को एन्जॉय करने लगी. फिर मैंने जो देखा वो एक सरप्राइज से कम नहीं था. मैं सोच रहा था की मॉम ऊँगली कर रही हैं अपनी चूत मे, पर उन्होंने अपनी चूत से एक डिल्डो बाहर निकाला, जो की बिलकुल काले कलर का था और अगर साइज की बात करे तो मेरे लंड से सिर्फ 19 ही होगा। वो डिल्डो वाकई बहुत बड़ा दिख रहा था जिसपे इस समय मेरी मॉम की चूत का काम रस लगा हुआ था, जिससे वो चमक रहा था. मॉम ने अपनी जीभ निकाली और उस डिल्डो पे लगे अपने काम रस को चाटने लगी. मॉम ने डिल्डो को चाट चाट के पूरा साफ़ कर दिया और अब उसे मुँह मे लेके चूसने लगी जैसे किसी लंड को अपने मुँह मे रखके चूस रही हो। कभी उस डिल्डो की टिप को अपनी ज़ुबान से कुरेदती तो कभी उसे पूरा मुँह मे लेके डीप थ्रोट करती. मॉम जब उस डिल्डो को चूस चुकी तब उन्होंने उसे बाहर निकाला और अपने रूम के गेट की तरफ देखा, जहां पे मैं बाहर की-होल पे अपनी आँख लगाए बैठा था और उन्होंने अपनी आँख दबा दी और एक बहुत ही नशीले स्माइल पास करी. Mom Son Sex Story Hindi

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मेरी तो गांड ही फट गयी, ऐसा लगा जैसे मेरी चोरी पखड़ी गयी हैं और मैं की-होल से दो फुट दूर जाके गिरा. मैं फटाफट वहाँ से भागके अपने रूम मे पंहुचा और गेट बंद कर दिया. मेरी सांसें बहुत तेज़ चल रही थी. क्या मॉम को पता था कि मैं बाहर हूँ अगर था तो कैसे और अगर नहीं पता था। तो मेरी तरफ देखके उन्होंने आँख क्यों मारी और वो क़ातिलाना स्माइल. मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा था कि ये क्या हो रहा हैं मेरे साथ. पर अंदर से एक आवाज़ भी आ रही थी कि कौन सी मॉम ये चाहेगी कि उसका बेटा उसके अंतरंग पालो को देखे. मुझे कुछ भी समझ नहीं आ रहा था. फिर मुझे वो सीन याद आने लगा कि कैसे मॉम अपने आपको सेटीसफ़ाई कर रही थी और उनका चेहरा कितना सुन्दर लग रहा था. वो कितनी सेक्सी लग रही थी, क्या कमर हैं उनकी, जब वो झड़ी तो कैसे उनकी कमर एक आर्च की तरह ऊपर उठ गयी. ये सब सोचते ही मेरा लोड़ा फनफनाने लगा, मेरे पुरे ज़ेहन मे मॉम की तस्वीर छप गयी थी. हर जगह मुझे मॉम नज़र आ रही थी. मुझे मॉम के अकेलेपन पे भी बहुत तरस आ रहा था, कि अभी इस उम्र मे भी इतना अकेली फील करती हैं. अब मुझे उनके बाहर चुदवाने की बात बिलकुल जायज़ लगने लगी. अगर पति इतना बड़ा चूतिया हो तो औरत बाहर क्यों ना जाए. आदमियों को तो आज़ादी हैं कि वो शादी के बाद भी अफेयर कर सके, पर अगर औरत करे तो वो बदचलन, बाज़ारू एंड रंडी कहलाये.

मुझे अब हल्का होना था और मैं अपनी चुराई हुई बेशकीमती चीज़ को खोजने लगा, पर वो मुझे कही पर भी दिखाई नहीं दी. वो थी मेरी मॉम की ब्रा. मुझे याद ही नहीं आ रहा था की मैंने वो कहा रखी. लेकिन अब मेरे से बर्दाश्त करना मुश्किल हो गया, मैंने अपना लंड निकाला और हिलाने लगा. मेरी इमेजिनेशन पूरी मेरी मॉम पर थी, मैं सिर्फ यह इमेजिन कर रहा था की मैं उन्हें चोद रहा हूँ और उन्ही के बेड पे और मेरा बाप एक करवट करके खर्राटे भर रहा हैं. मुझे ऐसा सोच के बहुत मज़ा आ रहा था और मेरी हाथ की गति एक दम नॉन स्टॉप चल रही थी मेरे लोडे पे. मेरी इमेजिनेशन बहुत खतरनाक हो चुकी थी और अब मुझे मॉम चाहिए थी हर कीमत पे. यह सब सोचते हुए मैं झड़ने के बिलकुल करीब था और एक दम से मेरी मशीन गन ने गोलियों की बौछार कर दी जो की कमरे मे हर तरफ गिरी.

मैं: ऊऊऊह्ह्हह्हह्हआआह्ह्ह्हह्ह्ह्ह आज तीसरी बार मैं मॉम को सोचते हुआ झड़ा.

अब मेरे अंदर इतनी ताक़त नहीं बची थी की मैं अपना रूम साफ़ करू या फिर कपडे चेंज करू। मैं ऐसे ही अपने बेड पे गिरा और सो गया. सुबह मैं जब उठा तब सब उठ चुके थे. मैं फ्रेश हुआ और नीचे गया तो देखा डैड और अनीशा डाइनिंग टेबल पर थे और मॉम किचन मे थी. अनीशा- मेरी छोटी बहन मुझसे दो साल छोटी है यानि 18 साल, फर्स्ट ईयर कॉमर्स स्टूडेंट कॉलेज टोपर और सीए बनना इसका एम्बिशन हैं। Mom Son Sex Story Hindi

अनीशा – गुड मॉर्निंग भैया।

मैं: गुड मॉर्निंग स्वीटी।

मै मॉम की तरफ किचन मे बढ़ गया और पता नहीं क्यों मुझे मॉम का अकेलापन सताने लगा और उसी कश्मकश मे मेरे कदम बिलकुल मॉम के पीछे जाके रुके. मैंने एक डिस्टेंस बनाक अपनी मॉम को पीछे से हग किया. मेरे हाथ उनकी मखमली कमर पर थे और मेरी ठोड़ी उनके कंधे पर.

मैं: गुड मॉर्निंग मॉम।

मॉम: गुड मॉर्निंग हैंडसम।

मॉम का हैंडसम बोलना मुझे बहुत अच्छा लगा. तभी अनीशा हम दोनों को किचन मे ऐसे देखती हैं और डाइनिंग टेबल से उठ के खड़ी हो जाती हैं और किचन मैं आती है।

अनीशा: ओहो मॉम बेटे मे कितना प्यार हो रहा हैं।

और बिना हमे कोई चांस दिए वो पीछे से आके मुझे जकड लेती हैं। जैसे ही वो मुझे पीछे से जकड़ती है तो मेरी कमर मे आगे की तरफ एक धक्का सा लगता है जिससे मेरा सेमि एरेक्ट लंड जोकि मॉम से दूर था अब वो सीधे मॉम की गांड की गहराइयों मे घुस जाता हैं और अपना आकार बढ़ाने लगता हैं. मॉम के मुँह से एक आह निकलती हैं, जोकी सिर्फ मैंने सुनी थी. एक सरप्राइज तब और मिला जब मॉम ने अपनी गांड को आगे नहीं किया, बल्कि उनका प्रेशर पीछे की तरफ था। जिससे मेरा लंड उनकी गांड की गोलाइयाँ आराम से नाप रहा था. हम दोनों अपनी ही दुनिया मे खोये हुए थे कि अनीशा ने हमारी तंद्रा तोड़ी.

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अनीशा: लव यू मॉम! लव यू भैया।

मॉम: ओके अनीशा लव यू टू बेटा! चलो डाइनिंग टेबल पे और अपना ब्रेकफास्ट करो और तुम भी चलो मेरे हैंडसम.

मुझे हैंडसम बोलते हुए मॉम ने बिलकुल मेरी आँखों मे देखा और उनके चेहरे पे एक स्माइल थी. हम सभी डाइनिंग टेबल पे बैठे नाश्ता कर रहे थे कि डैड ने एक फाइल मॉम की तरफ बढ़ा दी।

डैड- सपना इस फाइल पे तुम्हारे सिग्नेचर्स चाहिए।

मॉम: रख दो मैं शाम को पढ़के साइन कर दूंगी (मॉम की आवाज़ मे एक रूखपन था, जो मैंने आज से पहले कभी नोटिस नहीं किया)।

डैड: याद से पढ़ लेना क्युकी कल सुबह ही मुझे ऑस्ट्रेलिया निकलना हैं इस प्रोजेक्ट को लेके।

मॉम: ओके।

मॉम: अनीशा तुम आज क्लब की मीटिंग चलोगी?

अनीशा – मॉम मैंने आपको बताया था ना कि आज मैं कॉलेज ट्रिप पे एक वीक लिए घूमने जा रही हूँ।

मॉम: सॉरी बेटा आई फॉरगॉट.

हम सब ने अपना ब्रेकफास्ट फिनिश किया और डैड वहाँ से ही सीधा अपने ऑफिस निकल गए और अनीशा अपनी पैकिंग करने अपने रूम मे और बचे मैं और मॉम.

मॉम: सो हैंडसम! तुम्हारा क्या प्लान हैं आज का?

मैं: कॉलेज बंद हैं आज! मैं तो आज पुरे दिन सोऊंगा.

मॉम: मुझे तुमसे एक ज़रूरी बात करनी हैं, दो दिन बाद तुम्हारा 21st बर्थडे हैं तो परसो का कोई प्लान मत रखना.

मैं: क्यों मॉम?

मॉम बिलकुल मेरे करीब आ गयी.

मॉम: हमे परसों कही जाना हैं।

मैं: कहा मॉम!

मॉम अभी भी मेरे बहुत करीब थी इतनी की मैं उनकी साँसों की गर्मी महसूस कर सकता था।

मॉम: आई हैव ए सरप्राइज फॉर यू एंड आई हैव प्लान्स फॉर यू बट यू स्मेल सो गुड आरुष “यू स्मेल सो गुड”।

ये अल्फ़ाज़ मेरे ज़ेहन मे नश्तर की तरह चुभे. मैं सोच नहीं पा रहा था की मॉम क्या कहना चाहती हैं, कहा सूंघा उन्होंने मुझे. अभी तो आज मैं नहाया भी नहीं हूँ. मैं इसी सोच मे डाइनिंग टेबल पर काफी देर तक बैठा रहा. फिर एन्ड मे सोचा की जब मॉम से बात होगी तब पूछ लूंगा. तभी मेरा फ़ोन बजा, फ़ोन मेरे फ्रेंड का था जिसके पास मॉम का फ़ोन था. Mom Son Sex Story Hindi

फ्रेंड: ओह हीरो तेरा काम हो गया हैं बट क्या माल फंसाया हैं यार तूने. एक एक दम बॉम्ब हैं यार.

मुझे पहले तो गुस्सा आया फिर सोचा यार इसकी भी क्या गलती हैं मॉम हैं ही इतनी सेक्सी और हॉट और उसको भी कहा पता था की ये मेरी मॉम हैं और उसको मैंने यही बताया था की ये मेरी नयी गर्लफ्रेंड हैं तो उसमे उसकी क्या गलती.

मैं: कोई फोटोज या वीडियोस तो ट्रांसफर नहीं किये तूने और अगर किये हैं तो उन्हें डिलीट कर दे. अगर मुझे पता लगा की कुछ लिए हैं तूने तो साले तेरी वही गांड मार लूंगा.

फ्रेंड: जब तू मुझे मुँह मांगे पैसे दे रहा हैं तो ये काम मैं क्यों करूँगा और वैसे भी पैसे से बाजार मे बहुत माल मिलता हैं.

मैं: ओके तो फिर मैं आ रहा हूँ.

मैंने बाइक उठायी और दोस्त के घर पर चल दिया. वहाँ पहुंचा और उसने मेरा फ़ोन मांगा और उसमे कुछ डाउनलोड करने लगा. थोड़ी देर बाद उसने मुझे मेरा फ़ोन हैंडओवर किया और बोला।

फ्रेंड: ये ले तेरे फ़ोन मे मैंने एक एप डाउनलोड कर दिया हैं अब तेरी गर्लफ्रेंड कही भी होगी तुझे पता लग जायेगा और इसमें एक छोटा सा ट्रांसमीटर भी हैं जो तुझे उसकी सारी बात सुनाई देगी चाहे वो कही भी हो.

मैं: इसकी रेंज कितनी हैं?

फ्रेंड: इसकी कोई रेंज नहीं हैं ये एप के ज़रिये तुझे सुनाई देंगी और यह डाटा तेरी गर्लफ्रेंड के मोबाइल से लेगा और अगर फ़ोन हैंडफ्री लगाके बात होगी तो तुझे सिर्फ एक तरफ की बात सुनाई देगी और हाँ अगर स्पीकर ऑन होगा तो दोनों तरफ की.

मैं: ओके गुड जॉब!

फिर मैंने उसे पैसे दिए और घर की तरफ चल दिया. मैं घर पंहुचा और मॉम को ढूंढ़ने लगा. तभी अनीशा नीचे उतरी।

अनीशा: भाई प्लीज मेरा बैग उतार दो मेरी फ्रेंड्स आ गयी हैं मुझे अभी निकलना होगा।

मै अनीशा का बैग उठाने के लिए ऊपर जाता हूँ।

अनीशा – मॉम मैं जा रही हूँ सी यू आफ्टर।

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तभी मॉम ने अपने रूम का दरवाज़ा खोला और वो बाहर आयी और मेरी आँखें फटी रह गयी. मॉम सिर्फ एक छोटे से हाउस कोट मे थी जो सिर्फ उनकी जांघो तक था. मॉम ने शायद नीचे ब्रा भी नहीं पहन रखी थी जिससे उनके बूब्स हिल डुल रहे थे. उनकी सुडोल टाँगे मेरा टेम्परेचर बढ़ा रही थी और मैं मुँह खोले एक टक उन्हें देख रहा था. बाहर से एक हॉर्न की आवाज़ से मैं वापस इस दुनिया मे आया. Mom Son Sex Story Hindi

अनीशा: जल्दी करो ना भाई सब बाहर मेरा वेट कर रहे हैं.

मैं बैग उठा के अनीशा के पीछे बाहर तक जाता हूँ और उसका बैग कार मे रखता हूँ.

अनीशा – बाई भैया!

मै: बाई माय डॉल.

मैं वापस घर मे आता हूँ और मॉम को हॉल मैं बैठे हुए देखता हूँ. मैं मॉम की खूबसूरती को निहार रहा था. मॉम की झील सी आँखें, उनकी सुराहीदार गर्दन, एक दम तने हुए कंधे, एक दम उन्नत व तनी हुई छातियाँ, बलखाती हुई कमर, पीछे सांचे मे ढले हुए दो गुम्बद, एक दम चिकनी टाँगे. कोई कैसे न प्यार करे इस सुंदरता की मूरत से और पापा जो कल रात डेढ़ महीने बाद घर लौटे वो सो रहे थे? अगर मैं उनकी जगह होता तो डेढ़ महीने की कसर एक रात मे ही निकाल लेता. माना की काम ज़रूरी हैं पर प्यार भी तो ज़रूरी हैं. मुझे अपने पापा का नेचर समझ मे नहीं आया. लेकिन अपने मन मे मैंने मॉम को टटोलना स्टार्ट किया तो पाया की जो शुरुआत मॉम के लिए एक हवस से शुरू हुई थी वो कही न कही अब प्यार मे बदलती जा रही थी. लाइफ मे पहली बार, हाँ पक्का पहली बार मुझे प्यार हो गया हैं वो भी अपनी मॉम से. यस आई लव यू मॉम! मैं अपनी ही दुनिया मे मस्त था और अपने प्यार के सपने संजो रहा था कि तभी।

मॉम: कहा खो गया मेरा हैंडसम?

मै: अपनी गर्दन झटकते हुए कुछ नहीं मॉम।

मॉम: आजकल देख रही हूँ हैंडसम, कि तुम खयालो मे ज्यादा ही रहने लगे हो।

मैं: नहीं तो मॉम!

मॉम: कही कोई लड़की तो पसंद नहीं आ गयी मेरे हीरो को? प्यार व्यार तो नहीं हो गया तुझे?

मैं: नहीं मॉम आप भी ना।

मॉम: मुझे कुछ तो गड़बड़ लग रही हैं हीरो, तुम आजकल बहुत ताड़ने लगे हो.

मैं: किस को ताड रहा हूँ?

मैं: डार्लिंग दो तीन बार तो मैं तुम्हे, मुझे ही ताड़ते हुए देख चुकी हूँ.

मैं: (थोड़ा घबरा गया फिर संभाला अपने आप को) वैसे ऐसी कोई बात तो नहीं हैं पर मॉम अगर कोई भी आपको देखे तो वो अपनी नज़र आपसे हटा नहीं सकता क्युकी आप हो ही इतनी सुन्दर. Mom Son Sex Story Hindi

मॉम: ओह्हहो हैंडसम मुझसे ही फ्लिर्टिंग!

मैं: मॉम मैं आपसे कोई फ्लिर्टिंग नहीं कर रहा हूँ लेकिन मैंने जो कुछ भी बोला वो हकीकत हैं. यू आर डैम ब्यूटीफुल आप जैसी शायद ही कोई हो.

मैं अपने जज़्बात दबा नहीं पाया और वो बोल दिया जो मेरे दिल मे था. मॉम ये सुनके एकदम से उठी और बिलकुल मेरे करीब आ गयी. इतना करीब कि हम दोनों एक दूसरे की साँसे महसूस कर सकते थे, एक दूसरे के तन की ख़ुशबू हम फील कर रहे थे. मॉम मेरी आँखों मे देख रही थी और मैं उनकी। मै तो जैसे उनकी आँखों मे खो सा गया था. मेरा मन कर रहा था कि मैं मॉम को अपनी बाँहों मे भर लू और इन्हे बेतहाशा प्यार करू. लेकिन मॉम सिर्फ मेरी आँखों मे देख रही थी, शायद वो प्यार ढूंढ रही थी जिससे वो महरूम रही आज तक.

मॉम: डिड मी व्हाट यू जस्ट सैड (बहुत ही नशीली टोन थी मॉम की ये पूछते हुए)।

मॉम एक टक मेरी आँखों म देख रही थी और मैं हिम्मत नहीं जुटा पा रहा था, मॉम को जवाब देने की. मैं तो उनकी आँखों मे खोया हुआ था और मैं पूरी हिम्मत जुटा के सिर्फ अपनी गर्दन हाँ मे हिला पाया. हम दोनों एक दूसरे मे खोये हुए थे और मॉम धीरे धीरे मेरे और करीब आ रही थी. हम दोनों के होंठ सूख चुके थे और काँप रहे थे. फ़ोन की एक घंटी ने इस लम्हे को तोड़ दिया. वो फ़ोन मॉम का था जो मेरी जीन्स मे रखा हुआ था.

मॉम: ये तो मेरे फ़ोन की घंटी हैं.

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मैं: हाँ मॉम वो मै आपका फ़ोन सही करा के लाया हूँ. और मैंने हड़बड़ाते हुए फ़ोन मॉम को दिया और हड़बड़ाहट मे ये भी ना देख पाया की किसका फ़ोन हैं. मॉम ने फ़ोन लिया और अपने रूम की तरफ जाने लगी. मैं मॉम को जाते हुए देख रहा था. मेरा मन ऐसे रो रहा था जैसे कोई छोटे बच्चे से उसका खिलौना छीन लेने पर रोता हैं. मॉम ने जाते जाते मुड़ कर मेरी तरफ देखा और एक क्यूट सी स्माइल पास की और फिर बहुत ही प्यारी सी फ्लाइंग किस मुझे दी और अपने रूम मे पहुंच कर दरवाज़ा बंद कर लिया. जैसे ही दरवाज़ा बंद हुआ, मैं वापस से सपनो की दुनिया से हकीकत से मुखातिब हुआ. अपने रूम की तरफ भागा क्युकी मुझे सुनना था की मॉम किससे बात कर रही हैं. मैं रूम मैं पंहुचा और अपने फ़ोन पर एप स्टार्ट किया और सुनने लगा मुझे सिर्फ मॉम की आवाज़ आ रही थी।

मॉम: मै बस एक घंटे मे निकल लूंगी।

फिर उधर से कुछ बोला गया और मॉम बोलि..

मॉम – बिलकुल ठीक हैं।

फिर उधर से कुछ बोला गया।

मॉम: जैसे प्लान किया था वैसे ही करना, आज ये काम हो जाना चाहिए.

मुझे लगा मॉम अपने क्लब इवेंट के बारे मैं कुछ बात कर रही हैं तो मेरा इंट्रेस्ट ख़तम हो गया जो की मेरी सबसे बड़ी भूल थी. जो मैंने लास्ट मे सुना मॉम कह रही थी।

मॉम: मैं निकलने से पहले तुम्हे फ़ोन कर दूंगी.

फिर मैंने अपना फ़ोन रख दिया और सोचने लगा कि मैं क्या करूँगा पुरे दिन अकेले. मैंने सोचा क्यों न मस्ती ही कर ली जाये. मैंने एक नंबर डायल किया जो की गरिमा का था (इंट्रो बाद मे फिलहाल के लिए मेरी कॉलेज गर्लफ्रेंड). उसने फ़ोन नहीं उठाया टेक्स्ट मैसेज आया की वो अभी अपनी मॉम के साथ हैं एक फंक्शन मे, फ्री होते ही कॉल करती हूँ. मैंने फिर दूसरी का का नंबर मिलाया उसने भी नहीं उठाया और वहाँ से भी मैसेज आया– कॉल यू बैक। यानि मेरे खड़े लंड पे धोखा हो गया. मैं ऐसे ही सोच सोच के टाइम स्पेंड करने लगा या ये कहिये टाइम किल करने लगा. मुझे मॉम ने आवाज़ लगाई। Mom Son Sex Story Hindi

मॉम: आरुष आरुष कहा हो?

मैं भागता हुआ नीचे आया और मॉम को देखते ही एक दम से पत्थर की मूरत बन गया. मॉम ने एक गोल्डन कलर का लहंगा चोली पहन रखा था. मॉम के बाल खुले हुए थे, एक मांग टीका जो उनकी सुंदरता को चार चाँद लगा रहा था. मॉम की जवानी उस लहंगा चोली मैं उबाल मार रही थी. मॉम एक दम से थिरकती हुई चाल से मेरे करीब आयी और उन्होंने मेरा गिरेबान पकड़ लिया और अपना मुँह मेरे कान के करीब लाई।

मॉम: कैसी लग रही हूँ मैं?

मॉम की आवाज़ मे एक नशा था.

मैं – रविशिंग सेक्सी।

मॉम: रेअल्ली।

मैं सिर्फ अपनी गर्दन हिला पाया. मॉम ने अपनी जीभ निकाली और मेरे कान पे घुमा दी। मेरे पूरे बदन मे एक झुरझुरी सी फैल गयी. फिर मॉम ने मेरे गाल पे एक जोरदार किस किया और मेरा गिरेबान छोड़ दिया और बाहर की तरफ जाने लगी. मैं तो बस खोया हुआ था, उस लम्हे मे जो अभी मेरे साथ हुआ, तब तक मॉम गेट पे पहुँच चुकी थी और उन्होंने मेरी तरफ देखा और बोली.

मॉम: आई विल बी लेट.

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और यह बोलके उन्होंने फिर से मुझे एक आँख मारी और चली गयी. मैंने सोचा थोड़ी देर सोता हूँ फिर रात तो मेहनत करनी ही हैं. मैं अपने रूम मे जाने लगा. बेड पर लेटते ही मॉम का ख्याल आया. मैंने सोचा देख लूँ कि मॉम अब क्या कर रही हैं. मॉम का जीपीएस अब मूव कर रहा था, लेकिन बहुत स्लो. मॉम शायद पैदल चल रही थी, थोड़ी देर मे सिग्नल रुक गया और बहुत देर तक हिला नहीं. मैंने माइक्रोफोन ऑन किया और सुनने लगा..

और सुना छोटी तू तो वक़्त के साथ और निखरती जा रही हैं. ये आवाज़ शब्बो की थी.

मॉम: क्या दीदी आप भी चने के झाड़ पे चढ़ा रही हूँ.

शब्बो: पागल सच कह रही हूँ तू इस समय अवनि की बहन से ज़्यादा कुछ नहीं लगेगी. अवनि मेरी बड़ी बहन जो इस समय यूएस मे हैं और अपनी स्टडीज कम्पलीट कर रही हैं. यह हैं अवनि मेरी बड़ी बहन।

मॉम: दीदी आपसे बातो मे कोई नहीं जीत सकता.

शब्बो: सही कह रही हूँ कोई भी जवान लौंडा तेरे ऊपर चढ़ने को तैयार हो जायेगा.

मॉम: तो आप कौन सा कम हूँ सब कुछ बड़ा बड़ा हैं आपका. कोई भी सांड इस दुधारू गए की चढ़ाई करना चाहेगा.

शब्बो: अरे अब इन सांडो मे वो जान कहा. तू बता अभी तेरी ज़मीन बंजर हैं या किसी ने सींचा इससे.

मॉम: दीदी आपको तो सब कुछ मालूम हैं फिर बार बार ये सवाल क्यों पूछती हूँ.

शब्बो: कब तक उनकी याद मे अपनी जवानी बर्बाद करेगी वो जा चुके हैं अब नहीं आएंगे.

मॉम: मालूम हैं वो नहीं आएंगे पर मेरे लिए वो सब कुछ थे उन्होंने ही मुझे जीवन दिया खुशियां दी. उन जैसा मर्द कोई नहीं था और न होगा.

शब्बो: ये बात तो सोलह आने सच हैं कि उस जैसा मर्द ढूंढे नहीं मिलेगा. उनके नाम से ही मर्दानगी छलक़ती थी……यशवर्धन।

मैंने सोचा- यशवर्धन…..ये नाम तो मेरे दादा जी का हैं. मॉम और शब्बो की बातें सुनकर तो जैसे दिमाग ही ख़राब हो गया. सर फटने लगा था मेरा. मेरा वजूद हिल गया था. मैं अपनी पहचान ही भूल गया था. ज़िन्दगी कभी कभी आपको ऐसे मोड़ पे लाके खड़ा कर देती हैं कि आप ना जीना चाहते और ना ही मर सकते हैं. जिससे आप सबसे ज़्यादा प्यार करते हैं उसकी असलियत जब आपके सामने आती हैं तब ना ही तो आप उससे नफरत कर सकते हैं और ना ही उसे भूल पाते हैं. कुछ ऐसे ही हालात मेरे थे. मैं फिर से उनकी बातें सुनने लगा. मॉम: दीदी यश ही वो इंसान हैं जिन्होंने मुझे पूरा किया. मुझे कली से फूल बनाया फूल से औरत और औरत से मॉम बनाया. ये लास्ट की लाइन मेरे ज़ेहन मे दोहराने लगी औरत से मॉम बनाया मतलब मैं अपने बाप की नहीं अपने दादा की औलाद हूँ. मुझे कुछ भी समझ नहीं आ रहा था. मैं शायद अपने अस्तित्व की लड़ाई हार रहा था. पर कही न कही मुझे उम्मीद थी की शायद जो भी मैं सुन रहा हूँ वो झूठ निकले. Mom Son Sex Story Hindi

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शब्बो: छोड़ ना छोटी क्यों पुरानी बात याद कर रही हैं, बेकार ही मैंने तुझे सेंटी कर दिया.

थोड़ी देर तक कोई आवाज़ नहीं आई बस हलकी सी सुबकने की आवाज़ आ रही थी.

मेम आपका आर्डर, ये एक नयी आवाज़ सुनी.

वेटर: गुड आफ्टरनून मेम आज तो आप बहुत दिनों बाद आयी! और अब वो सर भी नहीं आते यहाँ.

शब्बो: (थोड़ी घबराते हुए) वोवो आउट ऑफ़ टाउन हैं.

वेटर: ओके मेम एन्जॉय योर मील इफ यू नीड एनीथिंग एल्स देन आई ऍम हेयर राइट इन दी कार्नर.

ये बोलके वेटर शायद चला गया और फिर हल्का सा सन्नाटा.

मॉम: ओह हो दीदी कौनसे सर हैं ये जेठ जी तो आते नहीं होंगे, बड़ी छुपी रुस्तम हो आप तो! मुझे बताया भी नहीं.

शब्बो: अरे हट छोटी वैसे ही.

मॉम: अच्छा जी अब मुझसे भी शरमाओगी.

शब्बो: अरे नहीं रे वो हैं न वो मनोज फोटोग्राफर.

मॉम: वो नेहा का फ्रेंड? हाय राम दीदी बड़ा ही जवान हाथ मारा, कहा गया हुआ हैं आजकल वो? जो आउट ऑफ़ स्टेशन हैं.

शब्बो: कुत्ता साला मेरे ही पैसों पे ऐश करि और साला भाग गया फ्रांस कोई फोटोग्राफी का कोर्स करने। जब से गया हैं तब से साले ने एक कॉल भी नहीं करि.

मॉम: आप कब से दिल लगाने लग गयी दीदी? जो आपको इतना बुरा लग रहा हैं.

शब्बो: दिल विल कुछ नहीं बस अब नया शिकार नहीं होता, उम्र जो हो गयी हैं.

मॉम: बन्दर कितना भी बूढ़ा हो जाये गुलाटी मारना नहीं छोड़ता.

शब्बो: तू मुझे बूढ़ा कह रही हैं.

मॉम: मैं तो आपके नए शिकार की बात कर रही हूँ.

शब्बो: चल हट वैसे तू सही कह रही हैं एक सांड को हरी हरी घास डालके देखा हैं देखो क्या होता हैं.

मॉम: कौन हैं वो खुशनसीब.

शब्बो: अभी नहीं जब कल उसको परख लुंगी फिर बताउंगी.

मॉम: चलो ठीक हैं दीदी अब घर चलें.

शब्बो: नहीं तू जा मैं अभी थोड़ी देर मैं जाउंगी.

मॉम: कोई आ रहा हैं क्या?

शब्बों: नहीं रे बस थोड़ी देर यही बैठना चाहती हूँ। उसके बाद कुछ देर तक कोई आवाज़ नहीं हुई। मैं अभी उन दोनों के बीच हुई बातो के बारे मे सोच ही रहा था की मेरे फ़ोन की घंटी बजी. जो नाम फ़्लैश हो रहा था, मेरा मन तो नहीं था फ़ोन उठाने का, पर फिर भी उठा लिया. उधर से आवाज़ आयी.. हाय स्मार्टी! Mom Son Sex Story Hindi

मै: कैसी हो मेरी सेक्सी (यानि फ़ोन शब्बो का था)?

शब्बो आंटी को मै पहले से जानता था और कई बार उनको चोद भी चुका था।

शब्बो: क्या कैसी हूँ आज तो पूरे दिन मेरे बॉयफ्रेंड ने मेरी कोई खबर ही नहीं ली.

मैं: (ये सुनके मेरे चेहरे पे स्माइल आ गयी) गर्लफ्रेंड ने भी तो कहा था की आज बिजी रहेगीं।

शब्बो: मिलने के लिए मना किया था एटलीस्ट कॉल तो कर ही सकता था मेरा बॉयफ्रेंड.

मैं: अच्छा जी मैं थोड़ा बिजी था इसलिए कॉल नहीं कर सका, थोड़ा पढ़ रहा था.

शब्बो: किसको पढ़ रहे थे? उधर से हंसने की आवाज़ आ रही थी।

मैं: फिलहाल तो किताबे अगर तुम कहो तो तुम्हे पढ़ लू आके.

शब्बो: आज तो अब मैं घर जा रही हूँ कल पढ़ लेना जितना तुम्हे पढ़ना हो.

शब्बो की आवाज़ मे एक कशिश थी.

मैं: फिर तुम मुझसे शिकायत करोगी कि मैं तुम्हे टाइम नहीं देता.

शब्बो: अच्छा छोड़ो और यह बता की कल कहा चलना हैं? कौन से होटल मे बुकिंग करू.

मैं: होटल में तो चोरी करने वाले जाते हैं मैं तो आज़ाद पंछी हूँ जो नीले आकाश के तले रहता हूँ और रही बात कल की तो वो आपके लिए एक सरप्राइज होगा और आपका पसंद आएगा।

शब्बो: देखते हैं अच्छा रखती हूँ कल बात करते हैं.

मैं: ओके बाई टेक केयर सेक्सी।

शब्बों: यू टू हैंडसम.

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फ़ोन रखने के बाद मैं अपनी लाइफ के बारे मे सोच रहा था. जो मैं कर रहा हूँ क्या वो सही हैं. अपने ही परिवार की औरतों के साथ ये सब! लेकिन फिर सोचा अगर तो मैं यशवर्धन का ही खून हूँ तो फिर इसमें गलत ही क्या हैं. अगर वो मेरा बाप हैं तो उसने भी तो परिवार की औरतों के साथ रिश्ते बनाये और शायद बच्चे भी पैदा किये. मुझे मॉम से बात करनी होगी क्युकी ये सच तो शायद पापा को नहीं पता होगा और वैसे भी हम तीनो भाई बहन की उनसे नहीं बनती. मुझे लगा कि मुझे मॉम के आमने सामने बात करनी पड़ेगी. कुछ पलो के लिए मेरे दिल से अपनी मॉम के लिए प्यार निकल गया और शायद उसकी जगह एक गुस्से ने ले ली थी. मैं अपनी ही दुनिया मे खोया हुआ था कि मुझे नीचे कुछ आवाज़ आयी. मुझे लगा मॉम आयी होंगी और मैं अब उनसे सवाल ज़रूर करूँगा. पर नीचे देखा कि डैड आये हुए हैं और वो अपने कुछ सामान की पैकिंग कर रहे हैं. उन्होंने मुझे देखा मैंने उन्हें देखा हमारे बीच एक आइ कांटेक्ट हुआ फिर वो अपने काम मे लग गए. मैं मुड़ के ऊपर जाने ही वाला था की मेन डोर एक बार फिर खुला और मेरी परी की एंट्री हुई. Mom Son Sex Story Hindi

अपनी परी को देखते ही मैं सब भूल गया कि मैं उससे गुस्सा हूँ। मैं अपने सारे सवाल भूल चूका था बस याद थी तो बेपनाह मोहब्बत जो मैं अपनी परी से करता हूँ. मुझे जानना था की मेरी परी के साथ क्या हुआ लेकिन अब मुझे सवाल नहीं पूछने थे. मुझे यह नहीं पूछना था कि मेरी परी ने ऐसा क्यों किया! पर जानना था कि ऐसा कैसे हुआ. मैं एक टक अपनी परी को देख रहा था और वो भी मुझे और एक तीसरा भी था जिसने इस लम्हे को अपनी कर्कश आवाज़ से ख़राब कर दिया. Mom Son Sex Story Hindi

डैड: सपना मुझे तुमसे कुछ बात करनी हैं अंदर चलो.

मॉम ने मुझे देखा फिर डैड की तरफ देखा.

मॉम: चलिए अंदर.

मॉम और डैड को मैं अंदर जाते हुए देख रहा था फिर जैसे ही दरवाज़ा बंद हुआ मैंने अपने फ़ोन पे वो एप चालू किया और अपने रूम की तरफ बढ़ गया.

डैड: मैंने तुम्हे सुबह कुछ पेपर्स दिए थे तुमने साइन किये उसपे?

मॉम: नहीं मैंने पढ़ी वो रिपोर्ट लेकिन मुझे उसमे कुछ फ़ायदा नज़र नहीं आया तो मैंने साइन नहीं करे.

डैड: अच्छा तुम बिज़नेस को मुझसे ज़्यादा जानती हो?

मॉम: हाँ अब बेटर समझने लगी हूँ.

डैड: मैंने कहा साइन करो यू बेटर साइन इट यू बिच.

मॉम: व्हाई शुड आई साइन इट यू बास्टर्ड? क्योकि मेरे सिग्नेचर्स से सिर्फ तुम्हे फ़ायदा होगा?

डैड: क्या कहना चाहती हो?

अलमारी खुलने की आवाज़ आती हैं.

मॉम: क्योंकी जिस कंपनी के साथ तुम डील करना चाहते हूँ उसमे तुम बोर्ड ऑफ़ डायरेक्टर्स मे हो. ये रहे उस कंपनी के पेपर मेमोरेंडम और आर्टिकल. इस डील से सिर्फ और सिर्फ तुम्हारी कंपनी को फ़ायदा होगा हमारी को नहीं. सो एज़ ए केयर टेकर मैनेजिंग डायरेक्टर आई डिड नॉट बौण्ड टू साइन इट युसिंग माय वीटो पावर! यू गोट इट! यू बेटर गोट इट. वैसे भी दो दिन बाद यश की विल खुलने वाली हैं तो तब डीसाइड कर लेंगे या फिर आरुष रिव्यु कर लेगा.

चटाकककक इस आवाज़ के साथ ही पूरे कमरे मे सन्नाटा छा गया.

पर फिर एक शेरनी गुराई.

मॉम: हाउ डेर यू पुट योर हैंड्स ऑन मी? तुम्हारी हिम्मत कैसे हुई? डॉन’ट यू एवर डेर टू पुट योर हैंड्स ऑन में नहीं तो मैं भूल जाउंगी की तुम यश के बेटे हो.

फिर शांति सी छा गयी रूम मे और फिर कुछ कदमो की आवाज़ और दरवाज़ा बंद होने की आवज. शायद मॉम वाशरूम मे घुस गयी थी. मुझे अपने सो कॉल्ड डैड पे बहुत गुस्सा आ रहा था जिसने मेरी परी पर हाथ उठाया. तभी एक हताश आदमी की झुंझलाहट सुनाई दी.

डैड: ये बूढ़ा भी साला मरने से पहले कहाँ फंसा गया. बाप नहीं साला कसाई था. और आरुष आरुष आरुष साला भेनचोद मर क्यों नहीं जाता ये आरुष……………

कहानी का दूसरा पार्ट यहाँ पढ़ें ===>> पापा बाहर बेटे का लंड माँ के अंदर भाग-2

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